मेरा पहला सच्चा प्यार और माता काली की साधना
नमस्कार दोस्तों धर्म रह चलो मैं आपका फिर से एक बार स्वागत है आज हमारे पास एक और नया अनुभव आया है और अनुभव मुझे इतने ज्यादा प्राप्त हो रहे हैं कि मैं क्या बताऊं मझे सोचना पड़ जाता है कि कौन सा अनुभव में प्रकाशित करो और कौन सा अनुभव में प्रकाशित ना करू जिन लोगों का अनुभव प्रकाशित नहीं हो पा रहा है माफ कीजिएगा क्योंकि इतने ज्यादा अनुभव हो जाते हैं कि मुझे चेक करना पड़ जाता है तो आपका अनुभव एकदम अच्छा होना चाहिए बहुत इंटरेस्टिंग होना चाहिए और आपके जिंदगी मे घंटित बिलकुल सच्चा अनुभव होना चाहिए वही अनुभव आप हमको भेजिए अगर आप रिकॉर्डिंग भेजते हैं तो मुझे विडियो बनाने में ज्यादा आसानी होती है और आप अपने मोबाइल पे रिकॉर्ड करके जो है अपनी कहानी भेज सकते हैं तो उससे मुझे और भी ज्यादा आसानी हो जायेगी तो इस समय मुझे इक अनुभव प्राप्त हुआ है माय ओरिजिनल स्टोरी के नाम से तू चल मैं उनकी शब्दों में शुरू करता हूं गुरु जी प्रणाम मैं जयप्रकाश मैं अपनी जिंदगी का एक राज बता रहा हूं यह बात 2005 जनवरी की है मेरा दादी जी जो मेरे मां के ना रहने के कारण मेरी मां जैसे ही मेरा ध्यान रखा था मैं अचानक उनका हार्ट अटैक आने से मैं बहुत डर गया था और 3 महीने के बाद मेरे पिताजी को भी हार्ट अटैक आया जिससे उनकी मृत्यु हो गई जब मेरे पिताजी का निधन हो गया था तब मैं उस समय 13 से 14 वर्ष का हुगा उसके बाद में बहुत उदास रहता था दादी खोया जाने का डर था मैं बचपन से ही नहीं आता जाता नहीं था मेरे घर में ही मेरी दुनिया थी दादी के कहने पर मैं नीचे लोगों से मिलने गया था फोन देना सुबह 8:00 बजे से 2:00 बीच लाइट जाती थी तो मैं नीचे द्वारे पर बैठ जाता था वहीं पढ़ता था तो एक दिन मेरे घर के सामने लड़की जो केजी में पढ़ती थी वो नीचे आई हमारे किराएदार टेलर की दुकान पर और हमारी आंखें एक दूसरे से मिली मैं लड़कियों से बहुत कम बोलता था लेकिन दिल की धड़कन तेज हो गई फिर वह अपनी छज्जे से मुझे दिन भर देखा करती थी मैं दिखने में सुंदर भी था और कोचिंग में बहुत लड़कियां थी
जो लाइन मुझे मारती थी लेकिन मुझे इन सब बातों से बहुत डर लगता था सामने वाली लड़की को 18 माह तक ऐसे ही देखता रहा जबकि वह इशारा करती थी और लेजर टॉर्च से रात को मेरे घर में भी चमक डालती थी यह बात मैंने अपने दोस्तों को बताई तो उन्होंने कहा जाओ और उसे रास्ते में मिलो तो 1 दिन में उससे मिला मुझे बहुत डर लग रहा था तो उससे बोला और कहा क्या तुम मुझको चाहती हो उसने एटीट्यूड में कहा नहीं फिर मैं चला गया पर घर से वह दिन में मुझे ही देखें फिर एक माह बाद में उसे हिम्मत करके उसके कोचिंग में उसका हाथ पकड़ के पूछा तो उसने कहां नहीं और अपने घर में कह दिया फिर मैं देली तरह में छत से उसको देखा तो मम्मी भी देख रही थी मेरी तो जान निकल गई और मुझको लगा उसके घर वाले मेरी दादी से कुछ कह ना दे जिससे उनकी तबीयत और खराब हो जाए और मैं इस वाले कमरे में आ कर बहुत रोया और सोचा कि इस लड़की ने ऐसा क्यों किया जो कि खुद इतना लाइन मारती है सुबह से लेकर दिन भर रात तक मुझे देखती है खुब रोया और सोचा इससे ज्यादा सुंदर और इससे अच्छी अच्छी लड़कियों मुझे लाइन मारती है मैं 15 साल का था पर दिखता 18 साल का था जिससे बड़ी बड़ी लड़कियां मुझमें इंटरेस्ट रखती थी उस दिन के बाद से उपर नीचे जाना बंद कर दिया और दिन भर वैसे ही मेरा इंतजार करती थी मेरे घर का छज्जा छत से ढका रहता था जिससे मैं उसे देख लेता था और वह मुझे नहीं देख पाती थी 1 दिन में छत पर गया तो अपनी छत से कान पकड़ कर सॉरी बोल रही थी मैंने उसे इग्नोर किया और सोचा फिर मुझे फसाये गी ये मैं उसे भूल नहीं पा रहा था 1 दिन घर के डॉट फोन पर किसी लड़की का कॉल आई जब मैंने उससे बात की तो पता चला की वही थी फिर उसने कहा कि मैं तुमसे बहुत प्यार करती हूं तो मैं एक पल के लिए तो सदमे में आ गया क्योंकि उस वक्त मैं उससे प्यार भी करता था और डर भी लग रहा था और मैंने मैंने कहा और खाना खा लि और तुम्हें मेरे घर का नंबर कैसे मिला मैंने उससे पूछा तो उसने बताया डिक्शनरी से मिला है तो उस समय बीएसएनल के डिक्शनरी से एड्रेस के नंबर पता चल जाता है
तो मैंने उसको धमकी दी कि मैं अभी तुम्हारे घर आकर तुम्हारी मम्मी से कहता हूं तो इस पर वह प्लीज मत कहना क्या तुम मुझसे प्यार नहीं करते हो तो मैंने कहा बहुत करता हूं फिर हम एक दूसरे से दिन भर बातें करने लगे उसने बहुत का कसमें भी खाई फिर एक दिन मैं उसके साथ हाथ में हाथ डाल के घूम रहा था तो मेरे दादी के रिश्तेदार ने मुझे देखा और फिर दादी से उन्होंने शिकायत की और दादी बहुत रोए और मोहल्ले की बात कह उन्होंने मुझसे कहा कि घर की इज्जत बर्बाद कर रहे हो फिर उनकी तबीयत बहुत खराब होने लगी और मुझे डर लग रहा था कि उनको कुछ हो ना जाए दादी को भी मैंने कसम दी और अब से मैं उस लड़की से नहीं बोलूंगा फिर मैंने वैसा ही किया और उसे बोलना बंद कर दिया फिर उसके बाद से मैंने मोबाइल फोन पर सब कुछ बंद कर दिया जिससे मुझे मैं उसकी आवाज ना सुन सकु मैं उससे बहुत ज्यादा प्यार करने लगा था फिर उसने भी मुझे बहुत सालों तक बहुत कॉल किया और जिन जिन लोगों से उसे मिलवाया था उसने उनसे कहा कि वह मेरे से बात नहीं कर रहा पर मैं उसे बिना जान के छोड़ दिया था पर मैं उससे बिल्कुल भी भूल नहीं पा रहा था और एक दिन उसको मैंने देखा कि अपने बगल के लड़के से बोल रही थी मैं गुरु जी आपको बता दु कि वह लड़का मेरे से ज्यादा चालू और बड़ा भी था उसने मुझसे कहा कि वह तुम्हें पूछती है तो मैंने कहा उससे मेरा कोई मतलब नहीं है तो उसने मुझसे कहा कि मैं उसे पटा लु तुम बीच में मत आना तो वह उसके साथ दोस्ती से घूमने लगी उस लड़के ने मुझे ऐसा बताएं तो गुरु जी मेरे मन में पता नहीं कैसे बात आई तो मैं छत पे आग जलाई और उसमें अपना खुन डालकर कहा है काली माता मुझे इस लड़की से हमेशा दूर रखना अगर मैं चाहूं भी तो मुझे इस गंदी लड़की से दूर रखना फिर गुरुजी उस दिन के बाद से 5 वर्ष तक उसको मैंने देखा ही नहीं फिर मेरे दादी की मृत्यु हो गई तब मेरी एक बहुत दोस्त बनी जब उसने मुझे प्रपोज किया तो मैंने उसे कहा कि मैं किसी और से प्यार करता हूं तब मुझे उसकी बहुत ज्यादा याद आने लगी और मैं रोने लगा
तब उसने कहा कि दादी अब नहीं है तुम्हें तो दादी के लिए कसम खाई थी अब तुमको उससे बात करनी चाहिए तब मैं किसी तरह उसका मोबाइल नंबर पता किया जब मैंने बात किया तो मेरे आंखों के आंसू नहीं रूक रहे थ फिर उसने कहा कि मैं इंगेजमेंट हु 4 साल से किसी और के साथ फिर मैंने कहा तुम ऐसा कैसे कर सकती हो तुमने मुझे बिना रीजन के छोड़ दिया तो में क्या करती मैं टूट गई मैंने पूछा कौन है वह तो उसने अपने 15 साल बड़े रिश्तेदार भाई को बताया लेकिन मुझे यह बात हजम नहीं हुई फिर हम दोबारा पूरा पूरा दिन बातें करने लगे लेकिन केवल एक दोस्त की तरह वह बात अब नहीं थी वह हर वक्त आई लव यू बोल रही थी फिर हम बहुत बदला है उसने उस वक्त झूठ बोला थी उसका कोई ऑफ फायर नहीं था पर अब मैं नहीं मान लिया था कि किया वह मेरी नहीं हो सकती तब उसने कहा कि मैं उसे छोड़कर तेरे पास आना चाहती हूं तब मैंने कहा जिसके तुम साथ 4 साल से उसको छोड़ रही हो मुझे ऐसी लड़की का साथ नहीं चाहिए गुरुजी उस टाइम जब वह लड़की मेरे पास फिर से आए तो मैंने उसे कहा कि अब मैं तुमसे प्यार नहीं करता अब ज्यादा कॉल भी मत किया करो मेरा लाइफ में कभी कोई ना आ पाई तो फिर उसने कहा तुम किसी और को पटा लो तभी बोलूंगी अब तो मैंने एकदम दूसरी लड़की को फ्रेंड बना लिया उसके बारे में तो कुछ बताया पर वह पता नहीं क्यों इतना ज्यादा अट्रैक्टिव हुई की बोली उसे भूल जाओ और मुझे देखो मैं उससे ज्यादा सुंदर हूं और उसने और मैंने कहा नहीं मैं वह उसी से प्यार करता हूं और जो सामने वाली लड़की को कॉल करवाई उसे बताया कि मेरी फ्रेंड बन गई है फिर उसे बाद में सामने वाली पूरी रात मुझसे बतलाई मुझसे बातचीत हुई उस दिन में मेरी दोस्त मेरी गर्लफ्रेंड का ट्रेक्शन बढ़ गया और उसने मुझे प्रपोज किया तो मैंने कहा कि अब मैं दोबारा नहीं कर सकता मैं उसने कहा मैं तुम्हारे लिए सब कुछ करूंगी और मैं कंफ्यूज हो गया जिससे प्यार करता हूं वह बोलते नहीं ठीक से और 15 दिन बाद सामने वाली बताया कि मैं अब जा रहा हूं
किसी और के पास तब वह मुझसे जाओ रुहो किसने रोका है तुम्हें गुस्से में था और दूसरी वाले को कॉल करके कहा मुझसे प्यार करती हो उसने कहा हां बहुत करती हूं फोन पर कमिटमेंट कर दिया और उसके दूसरे दिन मिलने का प्लान बनाया तब जैसे ही मिलने के लिए पहुंचा फिर उधर से सामने वाले का फोन आया उसने कहा मुझे भूल जाओगे ऐसे ना जाओ फिर उससे मैंने पूछा कहां मैं तुम्हारी वाली से मिलने आया हूं मैंने सच बोल दिया और उसने कहा वह सामने खड़ी है मैं बाद में कॉल करता हूं यह कह कर मैंने फोन काट दिया उससे मिला लेकिन मुझे फिर समझ में नहीं आ रहा था क्या करूं और मैंने उससे कह दिया मैंने गुस्से से उसे जलाने के लिए तुम्हें प्रपोज कर दिया था मैं तुमसे प्यार नहीं करता हूं फिर गुरुजी मैंने दूसरे दिन फिर से सामने वाले को कॉल किया और बोला कि मैं सिर्फ तुमसे ही प्यार करता हूं वह तो तुम उससे भी करते हो पर मैंने उससे कुछ ज्यादा ही फोस कर दिया था फिर वहां कहती है कि तुम कंफ्यूज रहते हो और किसी लड़के से प्यार के बारे में मैं कभी सोच भी नहीं सकती उसने बोला फिर मैंने उसको बहुत बातें सुनाई फिर कहती है वह कि अब नहीं बोलना मुझको तुमसे लेकिन हम हर साल कई बार बोलते हैं फिर बात आगे भी बढ़ पाती है और हर साल हर बार बात ऐसा ही होता है गुरु जी मुझे बताइए जो मैंने 11 साल पहले आग में खून डाला था और कहा था जिसकी वजह से नहीं हुआ है क्या ऐसा वशीकरण से हुआ है कृपया मुझे बताएं गुरुजी कुछ उपाय बताइए देखिए आप जो लड़की कह रही है आप कंफ्यूज है यह बात तो सच है क्या आप कंफ्यूज हो आपको देखिए दो नावों में पैर रखने को सिद्धांत होता नहीं और कभी प्यार मोहब्बत में जोहार मोनाल अच्छा शरीफ के पर पड़ता है तो आदमी कंफ्यूज रहता है वह सोचता है कि जो जिससे मैं प्यार करूं वह मुझसे प्यार करें और मैंमुझसे प्यार करें और मैं मैं चाहूं करूं या ना करूं
यह जो लेने देने वाली समस्या है बहुत समस्या रहती है और यह किशोरावस्था कर बहुत सबसे बड़ा संकट भी है इसलिए मैं आपसे यही हूं यही कहूंगा कि आप उसे प्यार करते हैं और वह किसी और से प्यार नहीं करती है तो केवल उसी के प्रति समर्पित हो जाइए और जो आप गलती माता काली को कहकर दी थी और फिर से आप माता काली को पूजा करते हुए कहिए कि जॉॉन मैंने गलती की थी और जो कहा था उसको वापस ले लीजिए और मैं अपना रक्त फिर से चलाता हूं ऐसी स्थिति से इसके लिए समर्पित रहूंगा और किसी लड़की के बारे में नहीं सोचूंगा यह तभी कीजिएगा जब आपको विश्वास हो की यह लड़की किसी और से प्यार नहीं करती होगी और अब पहले वाली पर ही जाइए क्योंकि आपका उसका प्यार सच्चा था गलती आप दोनों के मिसअंडरस्टैंडिंंग की है आपने दूसरे को समझा नहीं ना लड़की ना वह लड़की भी लड़की भी देखिए जिसके पास प्यार ज्यादा आने लगता है ना तो वह सोचता है कि और मिले और जिसके पास नहीं मिलता है तो कहता कि मुझे क्यों नहीं मिल रहा है इस वजह से जो यह मिसअंडरस्टैंडिंग किशोरावस्था का जो प्रभाव होता है हार्मोनन सीक्वेंस होता है इसी वजह से ऐसी सोच पैदा हो जाती है ती हो बच्चों में लेकिन आप लोक मैच्योर हो गए हैं
आप एक दूसरे अपनी बात सीधी तौर से बता सकते हैं कि मैं आपसे प्यार करता हूं मेरा उद्देश आपसे प्यार करने की आप शादी करना है अगर आप शादी आएंगे तो लड़की फिर से अब मान जाएगी और आपको शादी करना चाहिए अगर सच्चा प्यार करते हो तो और वह कहीं और इंगेज्ड ना हो तो और इधर उधर लड़कियों के पीछे भागने से यह सब करने से कभी कुछ हासिल होने वाला नहीं है और इस तरह सकते से निकल जाएगी और आप दूसरी लड़की का भरोसा नहीं कर सकते आपको पता होगा कि प्यार में चिपक रही है उसका कोई मतलब नहीं बनता तुम मेरी सीधी सी सलाह यही है कि मां से प्रार्थना कीजिए कि जो मैंने गलती की थी उसे नष्ट करना चाहता हूं जो आपने पहले किया था और फिर माता से प्रार्थना कीजिए कि वह सब वापस ले लीजिए इस लड़की से मिलिए जिस पर पूरी बात खोलकर कहिए रोरोइये उसके सामने कहिए कि मैं आपसे प्यार करता हूं और मैं आपसे शादी करना चाहता हूं हां कह दीजिये या फिर ना कह दीजिए अगर आप नहीं तैयार होती हैं तो मेर जिंदगी में कोई और लड़की नहीं जैसा घरवाले चाहेंगे वैसा होग जहां शादी करेंगे वहां करूंगा और आपसे संपर्क नहीं रखूंगा आर्य में शपथ के साथ कहता हूं और वह आपसे प्यार करती होगी तो बात को जरूर समझेगी और सब कुछ सही हो जाएगा और यह था इनका प्यार मोहब्बत वाला लव स्टोरी और यह कहानी इनके आपबीती सच्ची घटना आपको पसंद आई हो तो लाइक करें कमेंट करें शेयर करें आपका दिन मंगलमय हो धन्यवाद
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