साधकों के प्रश्न और उत्तर बहुत जरूरी जानकारी 75
१. जो लोग गुरु मंत्र प्राप्त करते है उनमे और बाकि जो लोग गुरु मंत्र नहीं लेते उनमें क्या अंतर है ?
उत्तर:- गुरु मंत्र इसलिए लिया जाता है जिससे की हम गुरु तत्त्व से जुड़ सके और उस ऊर्जा को प्राप्त कर सके, अगर कोई व्यक्ति गुरु दीक्षा प्राप्त करता है तो उसके अंदर गुरु ऊर्जा मंत्रो के माध्यम से विद्यमान हो जाती है | यह ऊर्जा उसके गुरु का और गुरु के गुरु का भी ऊर्जा समलित है जो गुरु परंपरा में जितने गुरु हुए है उन सभी की ऊर्जा और आशीर्वाद उस मंत्र के माध्यम से प्राप्त होती है | इस कारण जब भी साधक साधना सम्पन करता है तो उसकी साधना सही ढंग से सिद्ध हो जाती है उस ऊर्जा के माध्यम से और साधना में किसी प्रकार की विपत्ति नहीं आ पाती है | अगर आती भी है तो गुरु शक्ति उस साधक के पीछे खड़ी रहती है सहायता करने के लिए इसलिए साधनाए भी जल्दी सिद्ध हो जाती है | जो साधक गुरु धारण नहीं किये हुए होते है उनके किसी प्रकार की गुरु ऊर्जा प्राप्त नहीं हो पाती और अत्यंत कठिनाई के बाद ही उसकी साधना सिद्ध हो पाती है |
२. तांत्रिक और आध्यत्मिक गुरु मंत्र में क्या अंतर है ?
उत्तर :- अगर कोई मंत्र आध्यात्मिक मंत्र हो और साथ में तांत्रिक मंत्र भी हो तो ये सबसे उत्तम माना जाता है | क्युकी अगर आप तंत्र में प्रवेश करते है तो आपका मंत्र भी तांत्रिक मंत्र ही होना चाहिए और तांत्रिक गुरु द्वारा प्रदप्त भी होना चाहिए तब ही आप तांत्रिक शक्तियों को साध पाएंगे | और अगर आपका गुरु मंत्र तांत्रिक न हो के सात्विक मंत्र है तो वो सिर्फ सात्विक के लिए ही कार्य करेगा और वो आपका तंत्र में फ़ायदा नहीं करने वाला है | इसलिए अगर गुरु मंत्र दोनों प्रकार के हो तो ऐसे मंत्र सर्वोच्च मंत्र माने जाते है |
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