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माँ दुर्गा की सिद्धि के माध्यम से सट्टे के नंबरों की प्रतिदिन बारिश होना

माँ दुर्गा की सिद्धि के माध्यम से सट्टे के नंबरों की प्रतिदिन बारिश होना

नमस्कार दोस्तों धर्म रहस्य चैनल पर आपका एक बार फिर से स्वागत है। आज लेंगे एक ऐसे अनुभव का ज्ञान जिसके माध्यम से लोगों को सट्टे के नंबरों से संबंधित ज्ञान प्राप्त होगा और जान सकेंगे कि कैसे लॉटरी और धन राशि प्राप्त करने की एक विद्या के विषय में एक साधक महोदय ने अपने अनुभव को यहां पर बताया है तो चलिए शुरू करते हैं। पढ़ते हैं इनके पत्र को।

गुरुजी आप मेरा नाम प्रकाशित कर सकते है।  मेरा नाम – राकेश विश्वकर्मा है । मैं मध्य प्रदेश के सिवनी जिले का निवासी हूँ। मै अपना यह अनुभव धर्म रहस्य you tube चैनल को भेज रहा हूँ। मैंने अभी तक इसे कहीं भी नहीं बताया है न ही प्रकाशित किया है। अगर इस अनुभव पर कोई दावा करता है तो उसे किसी भी प्रकार के तर्क सम्मत दण्ड के लिए तैयार रहना चाहिए।  मैंने इसी धर्म रहस्य चैनल पर एक बार “ महालक्ष्मी दर्शन और मांस खाने वाला अनुभव “ प्रकाशित करवाया था। उस समय मेरे ऊपर महालक्ष्मी और मां दुर्गा की अपार कृपा थी। आज भी मैं किसी ना किसी रूप में , कम समय के लिए ही सही , किंतु छोटी मोटी साधना अवश्य कर लेता हूं।

ऐसी ही एक छोटी सी साधना मैंने एक बार और किया था।  जब मैंने दुर्गा सप्तशती की किताब से एक मंत्र को होली की रात में सिद्ध करने का प्रयास किया था।

उस मंत्र की पूर्णतः सिद्धि तो मुझे प्राप्त नहीं हुई किंतु माता रानी की कृपा अवश्य प्राप्त हुई। मुझे इस बात की जानकारी तब लगी जब मैं रात में करीब 2:00 बजे जप कर रहा था उसी दौरान कोई शक्ति पायल की आवाज़ करती , मेरी तरफ आती हुई सुनाई दी। हालांकि उस शक्ति को तो मैं नहीं देख पाया लेकिन उनकी पायल की आवाज जरूर सुन सकता था और मैं काफी डर गया था क्योंकि मैंने उस रात गलती से एक प्लास्टिक की कुर्सी अपने पूजा घर में ही , जहां पर मैं जाप करता हूं उसके बाजू में 1 फ़ीट दूर रख दिया था , ताकि समय पड़ने पर उस कुर्सी पर मै अपना टॉवेल रख सकूँ। और वह शक्ति उस कुर्सी पर आकर बैठ गई और अब तो मुझे सर्दी के मौसम में भी पसीना आना शुरू हो गया था। फिर भी तेज धड़कनों के बावजूद मैने जप करना जारी रखा। और मैं मन में यह भी विचार कर रहा था कि कोई भी मां अपने बच्चे की जान नहीं ले सकती और अगर यह शक्ति माता रानी के द्वारा भिजवाई गई होगी तो मेरा भला करने के लिए ही आई होगी। ऐसे में इनके द्वारा मेरी जान जाने का कोई खतरा नहीं होगा,  इस भावना के साथ मैं अपने आप को शांत रख रहा था। यह मंत्र मैंने सुबह 5:00 या 6:00 बजे तक किया, जैसा कि मेरा संकल्प था। उसके बाद मैंने इस मन्त्र का दशांश हवन भी किया जिसमें करीब 1 घंटा लगा होगा।

गुरु जी मैं सभी साधक बंधुओं को आपकी सहमति और आज्ञा से यह बताना चाहता हूं कि दुर्गा सप्तशती के मंत्र अपने आप में सिद्ध मंत्र होते हैं जिनका लाभ किसी गुरु के मार्गदर्शन में आसानी से उठाया जा सकता है।

तो अब आगे मैं इसी घटना का वर्णन करता हूं। आगे यह हुआ कि , जैसे ही मैंने उस मंत्र को सिद्ध किया। मुझे रोज रात को सोने के बाद नींद में , अलग-अलग चीजें दिखाई देने लगी और कानों में भी कुछ आवाज सुनाई देने लगी।  जिसमें आने वाले समय की चीजें होती थी जिसे हम भविष्य दर्शन कह सकते हैं ।

गुरुजी मैं भविष्य दर्शन की अवधारणा को लेकर बहुत आशावादी हूं और व्यक्तिगत स्तर पर अक्सर इसे खोजने का प्रयास करता रहता हूँ। मैंने अल्बर्ट आइंस्टीन और विलियम हॉकिन्स जैसे वैज्ञानिकों की “ टाइम डिलेशन “ और “ टाइम ट्रैवल “ पर theory पढ़ा है। लेकिन भारतीय अध्यात्म में इन्हीं बातों को लेकर बहुत अच्छी व्याख्याएं की गई है जिसमें पाश्चात्य जगत बहुत बौना मालूम होता है। इसलिए मैं भारतीय दर्शन और भारतीय परंपरा के बताए अनुसार भविष्य पर खोज करने का मार्ग अपनाना पसंद करता हूं। छठी इंद्री और शक्तियों द्वारा बताया गया भविष्य का concept केवल भारतीय दर्शन में ही दिखाई देता है , बाकी दर्शन या देशों में बचकाना बातें ही सुनाई देती हैं। जिसकी जरूरत भारतीयों को नहीं है। अब कोई घी छोड़कर , पानी मिली हुई छाछ क्यों खायेगा भला ? विश्व के किसी भी वैज्ञानिक में इतनी क्षमता अभी तक विकसित नहीं हो पाई है कि वे भविष्य में अपने मन या मस्तिष्क को ले जाकर होने वाली घटनाओं का 100% आकलन कर सके , फिर मानव शरीर या किसी पदार्थ को भविष्य में ले जाने की बात तो बहुत दूर है,,

 जैसा कि भारत में अनादि काल से ही होता चला आ रहा है, भारत में “ त्रिकालदर्शी “ जैसे शब्दों का उपयोग भी किया जाता रहा है उन लोगों के लिए जो भूत , भविष्य और वर्तमान देख सकते हैं। अगर ऐसा हरेक के लिए सम्भव होता तो किसी कंपनी के शेयर का सही आकलन करके बहुत अधिक धन बनाया जा सकता था।

पुनः हम अपनी घटना पर वापस आते हैं गुरु जी जब मैं रात को सोता था उस समय कोई शक्ति आकर मुझे सट्टे का बिल्कुल सही नंबर देकर चली जाती थी और मैं उसके द्वारा जोर से बोली गई आवाज के कारण डर कर उठ जाता था। यह खेल मेरे कुछ दिनों तक समझ में नहीं आया लेकिन जब मैंने मोबाइल पर देखना शुरू किया तो पता चला कि उस शक्ति के द्वारा दिए गए नंबर और मोबाइल पर आने वाले सट्टे के नंबर एक ही होते थे। उदाहरण के लिए मान लेते हैं कि आज 01 जनवरी 2022 है । तब वह शक्ति मुझे 02 जनवरी 2022 को दिन में आने वाले नम्बर देगी। मतलब 12 घंटे पहले ही नम्बर का पता चल जाता था। और यह केवल 1 ही अंक होता था जिस पर कोई सट्टा खेलने वाला व्यक्ति अगर अत्यधिक मात्रा में दाँव भी लगा दे तब भी वह हार नहीं सकता। इसका मतलब है कि प्रतिदिन वह व्यक्ति 1000 रुपये से लेकर 10 लाख रुपए भी कमा सकता था।

गुरु जी , चूँकि मेरे पास धन की समस्या थी इसलिए मैंने इन नम्बरों के माध्यम से थोड़ा धन कमाने का प्रयास भी किया । इसलिए जब मैंने शुरू में उन अंकों का उपयोग करना शुरू किया तब वह अंक मुझे फलीभूत नहीं हुए। मैं जब भी उस नम्बर को इस्तेमाल करता था , वह फेल हो जाता था। इसलिए मैंने अब free सेवा शुरू कर दी थी ताकि मैं नहीं कमा पाऊं तो किसी गरीब का तो भला हो सके। और चूंकि उन अंकों का मेरे लिए कोई इस्तेमाल नहीं था इसलिए मैंने उस सिद्धि का रहस्य सभी लोगों को बताना शुरू कर दिया जो गरीब थे और मन के सच्चे थे। इसका परिणाम यह हुआ कि वह सिद्धि जल्द ही नष्ट हो गई। लेकिन इसका एक फायदा भी हुआ। बहुत से हिन्दू साधक जो मुस्लिम तंत्र के माध्यम से किसी बाबा की साधना करते थे वे लोग भी माता रानी की इस तीव्र सिद्धि के प्रति आकर्षित हो गए और उन्होंने बाबा की ओर से अपना ध्यान हटा कर वापस हिंदू तंत्र विद्या की ओर आकर्षित हुए। और धीरे-धीरे माता रानी के अधिक मात्रा में भक्त बनना शुरू हो गए। आज मैं और मेरे बहुत से परिचित माता रानी की आराधना की प्रति तेजी से आगे बढ़ रहे हैं और नवरात्रि को बहुत हर्ष उल्लास के साथ मना रहे हैं।

गुरुदेव मैं यह भी विनम्रतापूर्वक बताना चाहता हूँ कि माता रानी के कृपा से मुझमें वह सामर्थ्य आ गया था कि मेरे द्वारा बोली गई कोई भी बात घटित हो ही जाती थी, उसे काटा नहीं जा सकता था। और जिस व्यक्ति पर मैं गुस्सा हो जाता था या उसे घूर कर देख लेता था , वह व्यक्ति कई दिनों तक उसका दण्ड भुगत रहा होता था। गुरुदेव मुझे इस अवस्था में आकर ये पता चला कि मेरे जैसे सच बोलने वाले इंसान की वैल्यू , कम से कम मातारानी के दरबार में तो है, बाकी झूठे लोगों की अपेक्षा तो मैं गरीब ही रहा हूँ या पीछे रहा हूँ ।

गुरुदेव , इन नम्बरों को गरीबों को बाँटने के घटनाक्रम में , मैं अपनी इसी समस्या जिसमे मैं इन नंबरो का इस्तेमाल नहीं कर पा रहा था , को लेकर कई तांत्रिकों से मुलाकात किया इनमें से 2 प्रमुख थे जिन्होंने शुरू में यह कहा कि यह किसी योगिनी के द्वारा पैदा किया गया भ्रम है लेकिन फिर दोनों ने उसे स्वीकार किया और बाद में उन्होंने अपना कमीशन 20% से 70% तक निर्धारित कर दिया और कहा कि अगर तुम हमें प्राप्त धन का इतना प्रतिशत दोगे तो तुम्हें यह नंबर फलीभूत हो जाएंगे। उसके बाद इसी तांत्रिक ने यह सुझाव दिया कि आपको छोटी कन्या के माध्यम से इन नंबरों का इस्तेमाल करना चाहिए क्योंकि यह देवी शक्ति द्वारा दिया गया है और कहा कि मुझे कमीशन देना होगा लेकिन मुझे उस पर भी भरोसा नहीं हुआ और अंत में मैं थक हार कर वापस आ गया।

लेकिन मैंने यह observe किया है कि-

“ पहला ” – मुझे छोड़कर अन्य लोग इससे धन कमा लेते हैं। और

“ दूसरा “ – जिस दिन मैं शराब और मांस खाकर सोता था , उस दिन बहुत स्पष्ट और 100% सही जोड़ी मिलती थी। बिना शराब और मांस खाये यह केवल 1 अंक ही मिलता था, जिसमे 10 गुना कम कमाई होती है। बहुत से साधकगण शायद इस बात से परिचित होंगे कि सिंगल अंक और जोड़ी में क्या अंतर है। जिन्हें इस बात के बारे में जानकारी नहीं है उन्हें मैं बताना चाहता हूं कि सिंगल अंक की अपेक्षा जोड़ी में 10 गुना ज्यादा पैसा प्राप्त होता है। तो शराब और मांस खाने की स्थिति में मुझे जोड़ी ही प्राप्त होती थी। जिस पर 10 गुना ज्यादा कमाई की जा सकती थी।

गुरुजी मुझे यह रहस्य समझ में नहीं आया कि यह ऐसी कौन सी शक्ति है जो मेरे शरीर के अशुद्ध होने की अवस्था में अधिक मात्रा में धन प्रदान करना चाहती थी। अभी तक जब मुझे कोई मार्गदर्शन नहीं मिला है तब तक मैं इस शक्ति को महाकाली की शक्ति ही मानकर चल रहा हूं आगे आप बताएंगे कि वास्तव में यह क्या है?

गुरु जी मैंने जब इस सिद्धि को लोगों के सामने प्रकट कर दिया करता था तो सिद्धि चली जाती थी और उसके बाद जब भी मैं माता रानी से माफी मांग कर फिर से 2 या 4 दिन की साधना करता था वह सिद्धि फिर से वापस आ जाती थी, ऐसा खेल करना मेरी आदत बन गई थी। और इस छिपा छिपाई के खेल में मुझे बहुत आनंद आने लगा और मेरी माता रानी के प्रति अटूट श्रद्धा और बढ़ जाती थी क्योंकि मेरा मानना यह था कि दुर्गा मेरी मां है और मुझे बार-बार माफ कर देती है। और इसी श्रद्धा के कारण अब मैं हर समस्या के बारे में उनसे अवश्य बातचीत करता था । भले ही मातारानी दिन में मेरा जवाब नहीं देती थी लेकिन सुन जरूर लेती थी। और वही जवाब मुझे रात को मिल जाता था।

हालांकि इन अंकों के अलावा भी जीवन के अन्य क्षेत्रों से जुड़ी हुई समस्याओं का हल माता रानी मुझे मार्गदर्शन करती थी। जैसे पढ़ाई कैसे करना है, किस पर भरोसा करना है , क्या मुझे कोई धोखा दे रहा है ? , संकट कब आने वाला है , आदि ।

गुरुजी एक बात मैं बताना भूल गया कि “ गौस पाक बाबा “ का एक हिन्दू साधक था, उसे बाबा से जो भी अंक मिलते थे , उन्हें मैं फेल कर देता था। शुरू के कुछ दिन तो उसने मेरी बात को बहुत सीरियस नहीं लिया लेकिन जब उसने परिणामों पर गौर करना शुरू किया था उसे पता चला कि वास्तव में माता रानी की ताकत का कोई सानी नहीं है। क्योंकि माता रानी का केवल 1 अंक ही उसके 5 अंकों पर भारी पड़ता था। फिर उसने बाबा की भक्ति छोड़ दिया और महाकाली की तरफ शिफ्ट हो गया क्योंकि मैं उसे दुर्गा माता की तरफ नहीं लाना चाहता था क्योंकि वह शराब का सेवन करता था और आश्चर्य देखिए कि उसने पहले सप्ताह में 43 हजार,  दूसरे सप्ताह में 21 हजार और तीसरे सप्ताह में 10 हजार कमा लिया।  लेकिन वह मन का साफ इंसान नहीं था। इसलिए फिर उसे महाकाली की साधना फलीभूत नहीं हो पाई। और उसके घर के थोड़े से हिस्से में आग लग गई हालांकि इस आग से किसी प्रकार का नुकसान नहीं हुआ क्योंकि आग केवल आलमारी के आसपास लगी जिस पर काबू पा लिया गया और महाकाली की वह फोटो जल गई जिसके सामने वह साधना कर रहा था इससे यह संकेत मिला कि कोई गलती हो रही है या वह लालची इंसान है ? गुरु जी मैं तो भली भांति इस आग वाले संकेत का अर्थ भी नहीं समझ सकता। इसलिए कृपया आप ही बताने की कृपा करें कि ऐसा क्यों हुआ था?

गुरु जी इस पर मेरे कुछ प्रश्न है –

प्रश्न 1 – ये कौन सी शक्ति है जो मांस और शराब का सेवन करने के बाद ही सबसे accurate अंक देती थी, अन्य दिनों की तुलना में? जबकि पिछले अनुभव में मैंने बताया था कि किस प्रकार मांस का सेवन करने से महालक्ष्मी माता की कृपा और सिद्धि प्राप्त होने से रुक गई थी। यह अनुभव उसके बिल्कुल विपरीत है।

प्रश्न 2 – जो अंक मुझे प्राप्त होते थे , क्या उनसे मैं भी कमाई कर सकता था ? अगर हाँ तो कैसे ? अगर नहीं तो माता रानी मुझे झूठी उम्मीद में क्यों रख रही थी ? जिससे मेरा समय भी खराब हो रहा था।

प्रश्न 3 – मुझे बार बार फिर से वही सिद्धि मातारानी क्यों दे देती थी ? जब उन्हें यह पता ही होता था कि मैं फिर से सभी को बता दूँगा? और फिर से इस सिद्धि को खंडित कर दूँगा? और इसके द्वारा मैं कोई कमाई नहीं कर पाऊँगा।

प्रश्न 4. साधना काल में रात में उस साधक के सोने के बाद आग क्यों लगी होगी ? जिससे कोई हानि नहीं हुई लेकिन महाकाली की फोटो जल गई। यह क्या संकेत है ? हालाँकि उसने जितना संकल्प लिया था उसका आधा भी नहीं कर पाया , क्या ये संभावित कारण हो सकता है या वो मन का दुष्ट था ये कारण हो सकता है ?.

प्रश्न 5. गुरुदेव मैं कभी कभी अंडा, मांस, शराब का सेवन भी कर लेता हूँ।  और जब जब मैंने सात्विक तरीके से किसी भी मंत्र को सिद्ध करने का प्रयास किया है और उसके बाद छोटी मोटी सिद्धि प्राप्त किया है और उसके बाद जैसे ही मैं अंडा या मांस का सेवन करता हूं मुझे स्पष्ट समझ में आ जाता है कि मेरा अध्यात्मिक स्तर बहुत गिर चुका है और सिद्धि कमज़ोर हो चुकी है। क्या इसके लिए कोई दूसरा रास्ता है ? जिसमें माँ दुर्गा की ऐसी साधना की जा सके जिसमें शराब, अंडा, मांस इत्यादि के लिए मनाही ना हो , यहाँ मैं ये बताना चाहता हूँ कि मुझे केवल माँ दुर्गा की साधना ही करना है न कि महाकाली या किसी अन्य शक्ति की। चाहे वह पुरुष शक्ति हो या स्त्री शक्ति।

प्रश्न 6. गुरुदेव , मैं पिछले 3 साल से सऊदी अरब की लॉटरी वाली टिकट को देख रहा हूँ जिसमें मैंने ये observe किया है कि लगभग 1st, 2nd, 3rd ईनाम भारतीय लोग ही ले जा रहे हैं । जिसकी 1 टिकट का ईनाम 20 करोड़ रुपये से ज्यादा है। मुझे ऐसा प्रतीत होता है कि ये लोग कोई बड़े तांत्रिक हैं या तान्त्रिकों से मदद ले रहे हैं। अन्यथा उस लॉटरी की टिकट को तो पूरे विश्व से लोग खरीदते हैं। उनका ईनाम क्यों नहीं फंसता ? पाकिस्तान का 1 ही व्यक्ति ने ईनाम ले गया है वो भी 3rd नम्बर पर। उसके अलावा सारे ईनाम भारतीयों के हाथ ही लग रहे हैं। इस पर प्रकाश डालने की कृपा करें। और यह भी बताएँ कि क्या इसके लिए माँ दुर्गा की कोई साधना है ?

कई भारतीय तो इतने धुरंधर हैं कि वे लोग दो टिकट खरीदते हैं और पहला और दूसरा इनाम उन्हें ही प्राप्त होता है। इस बात को जानने के बाद हमें गर्व होना चाहिए कि भारत में कितने गहरे तांत्रिक हैं, जो विश्व में उपस्थित किसी भी तांत्रिक , यहाँ तक गणितज्ञ और वैज्ञानिक को भी आसानी से मात दे सकते हैं। गणितज्ञ रामानुजन इसका दूसरा उदाहरण है, जिनके गणित के theorem (थेओरम) लन्दन और अमेरिका के गणितज्ञ 1920 से आज तक आधे ही हल कर पाए हैं , पूरे हल करने में करीब 100 साल और लगेंगे। रामानुजन ने कई बार बताया कि उन्हें यह गणितीय सिद्धांत एक देवी की मदद से मिलते थे, जो उनकी कुलदेवी थी।  ( जिन साधकों को रामानुजन के बारे में अधिक जानना है वे लोग यूट्यूब पर रामानुजन मूवी देख सकते हैं।) और इसीलिए मुझे उन लोगों पर दया आती है जो भारत में रहकर भी चंद रुपयों के लिए अपना धर्म परिवर्तन कर लेते हैं । ये लोग बिल्कुल वैसे ही है जो घी छोड़कर छाछ पीना पसंद करते हैं।

गुरुदेव मैं आपके चैनल के माध्यम से आप के और अन्य साधकों के सामने यह विनम्र घोषणा करना चाहता हूं कि जो भी साधक अथवा सिद्ध पुरुष मुझे इस लॉटरी की साधना में सफलता दिलाएगा मैं उसे ईनाम की राशि का 25% खुशी खुशी दे दूंगा। और इसकी जानकारी गुप्त ही रखी जायेगी। हालांकि इसे उजागर करने में भी कोई समस्या नहीं हो सकती क्योंकि सरकार पहले ही अपने हिस्से का टैक्स काट चुकी होती है। इसलिए यह धन कोई गैरकानूनी धन नहीं होता है।

अब गुरुदेव बताने के लिए तो बहुत ज्यादा है लेकिन पत्र लम्बा न हो जाये , इस बात का भी डर है। गुरुजी यह 2 साल की घटनायें हैं , जिन्हें मैं आपको भेजने के लिए 20 महीनों से परेशान हो रहा था। लेकिन आज माता रानी की कृपा से वह काम भी पूरा हो रहा है।

इतना कहकर मैं अपने पत्र को विराम देना चाहूंगा। और गुरुदेव के श्री चरणों मे सादर प्रणाम करता हूँ।  कृपया मेरे इन प्रश्नों के उत्तर देने की कृपा करें।

मुझे आशा है कि मातारानी के भक्तों को नवरात्रि में इस सच्ची घटना को सुनने से भक्ति में बढ़त मिलेगी।

जय माँ शेरा वाली

इनके प्रश्नो के उत्तर जानने के लिए नीचे यूट्यूब का विडियो भी देखे –

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